रीवा @ सुभाष मिश्रा। विकासखंड अंतर्गत जवा थाने के बगल से जवा बस्ती की ओर जाने वाले मुख्य सड़क मार्ग में वर्तमान सरपंच द्वारा गुणवत्ता विहीन नाली का निर्माण करवाया गया। जवा बस्ती के 200 घरों का पानी लाकर विद्यालय के कैंपस में स्थाई रूप से छोड़ दिया गया। जिससे छात्र छात्राओं एवं अभिभावकों में आक्रोश दिखाई दिया।
उनका आरोप था कि गंदे पानी के निकासी के लिए बनी नाली निर्माण कार्य में अनियमितता बरते जाने के कारण ही समस्या उत्पन्न हुई है। अभिवावकों का आरोप है कि एक ओर सरकार स्वच्छ भारत अभियान के तहत करोड़ों रुपए खर्च करके लोगों को स्वच्छता का संदेश देती है लेकिन यहां के स्थानीय प्रशासन और सरपंच द्वारा इसको दरकिनार कर दिया गया। स्कूली छात्र छात्राओं को आने-जाने सहित खेलने एवं अन्य कार्यों के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ रही है। विद्यार्थियों ने आरोप लगाया कि संस्था प्राचार्य से कहते हैं तो प्राचार्य द्वारा कहा जाता है कि सरपंच साहब काम करवाएंगे लेकिन आज तक किसी भी प्रकार से कोई सुनवाई नहीं हुई। स्कूली छात्रों ने चेताया कि यदि तत्काल समस्या का समाधान नहीं किया गया तो उग्र आंदोलन भी होगा।
इस दौरान संस्था के प्राचार्य का कहना था कि गंदे पानी की निकासी के लिए करीब चार माह पूर्व से सरपंच ग्राम पंचायत जवां को लगातार बोला गया लेकिन उन्होंने किसी भी प्रकार से इसको नहीं सुना । नाली के पानी को मुख्य सड़क पर गिराने के लिए कोई प्रबंध नही किया गया। सरपंच द्वारा कहा गया कि सड़क खोदकर अंडर ग्राउंड पाइप डाली जायेगी लेकिन वह भी कार्य नहीं किया गया। बरसात में संस्था में अध्ययनरत 1200 छात्र-छात्राओं सहित अन्य कोचिंग संस्थाओं के लगभग 500 विद्यार्थियों का प्रत्येक दिन इसी परिसर में इसी मुख्य मार्ग में आवागमन होता रहता है।
उन्होंने कहा कि क्षतिग्रस्त सड़क और फुल नाली होने के कारण मार्ग का अंदाज न मिलने से अब तक यहां कई स्कूली बच्चों संग दो पहिया वाहन सवार गिरकर घायल हो चुके हैं। पिछले कई माह से कायम इस गंभीर समस्या के निराकरण के लिए दूरभाष में प्रशासन से कई बार गुहार लगाई गई, किंतु स्थिति आज तक जस की तस बनी हुई है। इतना ही नहीं लोगों का राह चलना काफी मुश्किल हो गया है। वहीं दुर्गंध के कारण आसपास के लोगों का जीना मुहाल हो गया है।